दमा रोग

दमा रोगी को सांस लेने में तकलीफ और कठिनाई महसूस होती है। दमा रोग सांस नलिकाओं में दोषों के कारण सुजन और विकारों के कारण नलिका का सिकुड़ जाने के कारण होता है। इसके कारण फेफड़ो में भी सुजन और कफ जम जाता है। अगर समय पर इलाज ना कराया तो यह रोग विकराल होता जाता है। दमा रोग से रोगी में घबरावट, घरघराहट, सीने में जकडऩ और और खांसी का आना स्वभाविक है। आप होम्योपैथिक विधि से इसका उपचार कर सकते है।

दमा रोग के लक्षण-

ठंड में या व्यायाम में ज्यादा
सामान्य से शुरु
सूखा बलगम
सांस लेने से घरघराहट
सीने में जकडऩ और
सांस के साथ सीने से सिटी की आवाज

दमा रोग के कारण-

एलजी
कोकरोच, दीमक
खाद्य पदार्थो के कारण
वायु प्रदुषण
अनुवांशिक
पराग कण
सर्दी और मौसम बदलाव
धुम्रपान
मोटापा

होम्योपैथिक उपचार-

अगर आप भी दमा रोग की समस्या से परेशान है तो आप होम्योपैथिक दवाओं के सेवन से इस समस्या से छुटकारा पा सकते है। आप अपने नजदीकी होम्योपैथिक डॉक्टर से संपर्क कर दमा रोग की समस्या से छुटकारा पा सकते है। किसी तरह की परेशानी होने पर आप साहस होम्योपैथिक के विशेषज्ञ डा. एनसी पाण्डेय से संपर्क कर सकते है। अधिक जानकारी के लिए ऊपर दिये गये वीडियो को देखें।